Parvatasana Benefits in Hindi: आज की बिजी लाइफ स्टाइल में किसी के पास इतना समय नहीं रहता है कि, वो अपनी सेहत का ध्यान रखने के लिए थोड़ा समय निकाल ले। ऐसे में योग आपके बहुत काम आ सकता है। आज के समय में अक्सर लोग अपने मन को शांत और शरीर को स्वस्थ रखने के लिए योग करना पसंद करते है। इसके अलावा अगर आपके पास समय की कमी है तो भी आप सुबह या केवल शाम में भी योग कर सकते हैं।
नियमित रूप से योग करने से शरीर फिट रहता है और मानसिक विकार दूर होने के साथ मन से गलत भावनाएं भी दूर रहती है। रोज़ाना योग करने से जीवन में सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह होता है। सुबह-सुबह योग करने से पूरा दिन काम में मन लगने के साथ थकान का भी अनुभव नहीं होता है। आज हम आपको एक ऐसे ही योगासन के बारे में बताने जा रहे हैं, जिसका नाम है पर्वतासन। आज हम आपको पर्वतासन के फायदे और करने के तरीके के बारे में विस्तार से बताने जा रहे हैं।
क्या है पर्वतासन (Kya Hai Parvatasana)
पर्वतासन में शरीर की मुद्रा को पर्वत के समान बना लिया जाता है। पर्वतासन को माउंटेन पोज भी कहते है। पर्वतासन को करना ज़्यादा मुश्किल नहीं है। रोज़ाना पर्वतासन को करने से कंधे, कमर, और गर्दन के दर्द से आराम मिलने के साथ कमर के आसपास के मोटापे से भी छुटकारा मिलता है।
पर्वतासन करने का तरीका (Parvatasana Steps in Hindi)
- अगर आप पर्वतासन करना चाहते हैं, तो इसके लिए सबसे पहले किसी साफ-सुथरी जगह पर एक चटाई पर पद्मासन की मुद्रा में बैठ जाएं।
- अपने सिर और गर्दन को बिलकुल सीधा, कन्धों को चौड़ा, और पेट को सामान्य स्थिति में रखें। इसके अलावा ठोड़ी को अंदर की तरफ खींचते हुए आँखों को सामने एक बिंदु पर स्थिर रखें। अपने दोनों हाथों को ऊपर की ओर करते हुए नमस्कार की स्थिति में लाएं।
- अब सांस को अंदर खींचते हुए अपने दोनों हाथों को सिर के ऊपर उठाएं।
- अब अपने हाथों को अपने कानों के पास रखते हुए अपने पेट को धीरे-धीरे अंदर की तरफ खींचते हुए पीठ को बिलकुल सीधा रखें।
- इसके बाद अपनी कोहनी और कलाई को बिना मोड़े अपने हाथों को सीधा रखते हुए ऊपर को खीचें। इस दौरान आपको शरीर में खिंचाव महसूस होना चाहिए।
- 30-40 सैकेंड तक इस मुद्रा को बनाए रखें।
- अब अपनी सांस को बाहर की तरफ छोड़ते हुए हाथों को धीरे-धीरे नीचे लाएं और शुरूआती मुद्रा में वापस आएं।
पर्वतासन करने के लाभ (Parvatasana Benefits in Hindi)
- नियमित रूप से पर्वतासन करने से शरीर में रक्त का बहाव सही तरीके से होने के साथ पूरे शरीर में ऊर्जा का संचार होता है।
- पर्वतासन करने से शरीर के पोश्चर में सुधार होता है। अगर आपका सिटिंग जॉब है तो आपके लिए पर्वतासन काफी फायदेमंद साबित हो सकता है। इस आसन को करने से शरीर को स्ट्रेच करने और रीढ़ की हड्डियों को लचीला बनाने में भी मदद मिलती है।
- पर्वतासन करने से शरीर का संतुलन बना रहता है। पर्वतासन करने से हाथ, कंधे, और हैमस्ट्रिंग मज़बूत बनते हैं।
- रोज़ाना पर्वतासन करने से शरीर का पाचन तंत्र मज़बूत बनने के साथ पाचन के लिए आवश्यक रसों का स्त्राव होता रहता है। इससे अपच और कब्ज़ की समस्या से छुटकारा मिलता है।
- पर्वतासन को करने से एकाग्रशक्ति बढ़ती है और साथ ही इस आसन को करने से स्ट्रेस, एंग्जाइटी, और माइल्ड डिप्रेशन जैसी समस्यायों से छुटकारा मिलता है।
- नियमित रूप से पर्वतासन करने से शरीर के सभी अंगों में ऑक्सीजन का प्रवाह सही तरीके से होता है।
- रोज़ाना पर्वतासन करने से शरीर डिटॉक्स होने के साथ शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता भी मज़बूत होती है।
पर्वतासन करते समय रखें ये सावधानियां (Parvatasana Contraindications in Hindi)
- अगर आपकी रीढ़ की हड्डी में दर्द रहता है तो भूलकर भी इस आसन को न करें।
- डायरिया और अस्थमा की समस्या होने पर पर्वतासन नहीं करना चाहिए।
- गर्दन में दर्द या अकड़न की समस्या होने पर पर्वतासन नहीं करना चाहिए।
- अगर आपके कंधे या हाथ में दर्द होता है तो अपने हाथों को ऊपर न उठाएं।
- अगर आपको घुटने में दर्द या आर्थराइटिस की समस्या है तो दीवार के सहारे ही पर्वतासन का अभ्यास करें।
- पर्वतासन का अभ्यास हमेशा ट्रेनर की देख-रेख में ही करने का प्रयास करें।
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