अप्रैल के महीने में कई व्रत-त्यौहार रहते हैं। पंचाग के अनुसार चैत्र मास के कृष्ण पक्ष की एकादशी को पापमोचनी एकादशी के नाम से जाना जाता है। इस दिन भगवान विष्णु की पूजा और व्रत करने की परंपरा है। शास्त्रों के अनुसार पापमोचनी एकादशी के दिन पूजा करने से सभी प्रकार के पापों से छुटकारा मिल जाता है। यह व्रत आपको सभी चिंताओं से मुक्त कर सकता है। इस वर्ष पापमोचनी एकादशी 5 अप्रैल 2024 को मनाई जाएगी। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, पापमोचनी एकादशी के दिन भगवान विष्णु की पूजा करना और कुछ उपाय करना लाभकारी होता है। जानें पापमोचनी एकादशी के दिन आपको कौन से विशेष उपाय करने चाहिए।
पापमोचनी एकादशी उपाय (Papmochani Ekadashi Upay)
- अगर आप नई नौकरी की तलाश में हैं या प्रमोशन चाहते हैं तो एकादशी के दिन एक कच्चा नारियल और आठ बादाम लेकर भगवान विष्णु के मंदिर में चढ़ा दें।
- पापमोचनी एकादशी के दिन विष्णु जी के मंत्र का जाप करें और साथ ही विष्णु चालीसा का भी विधिपूर्वक जाप करें। इस मंत्र को तुलसी की माला से जपने का प्रयास करें।
- अगर आप व्यापार में निरंतर वृद्धि चाहते हैं तो पापमोचनी एकादशी के दिन 11 गोमती चक्र और तीन एकाक्षी नारियल लेकर भगवान विष्णु के मंदिर में चढ़ा दें। विधिवत पूजा के बाद, गोमती चक्र लें और इसे पीले कपड़े से बांध दें। फिर इसे ऑफिस में कहीं बांध दें।
- एकादशी के दिन सुबह घर की साफ-सफाई करें, सामने के दरवाजे पर हल्दी मिला हुआ गंगा जल छिड़कें और विष्णु मंत्र का 108 बार जाप करें। जप के लिए तुलसी की माला का प्रयोग करें।
- पापमोचनी एकादशी के दिन भगवान विष्णु के मंदिरों में जाकर 11 गोमती चक्र चढ़ाएं। इसका अर्थ है 1 परिक्रमा के लिए एक गोमती चक्र चढ़ाएं।
- पापमोचनी एकादशी के दिन, एक गोमती चक्र को पीले कपड़े में लपेटकर कार्यस्थल पर रखा जा सकता है।
- पापमोचनी एकादशी के दिन सुबह-शाम भगवत गीता का पाठ करें। नारायण कवच का पाठ भी शुभ रहता है।
- इस दिन आप भगवान विष्णु के राम या कृष्ण रूप की पूजा कर सकते हैं। भगवान श्री कृष्ण की आरती करना इस दिन बहुत शुभ रहता है।
- पापमोचनी एकादशी के दिन भगवान श्री हरि विष्णु और माता लक्ष्मी के सामने नौ दीपक जलाए जलाएं और कनकधारा स्तोत्र (श्री लक्ष्मी का स्तोत्र) का पाठ भी कर सकते हैं।
- इस दिन व्रत करें और पापमोचनी एकादशी की कथा अवश्य पढ़ें।
पापमोचनी एकादशी के दिन करें तुलसी की पूजा (Papmochani Ekadashi Special Remedies)
- पापमोचनी एकादशी के दिन तुलसी के गमले पर स्वस्तिक का चिन्ह बनाकर और उन्हें लाल कलावा धागा चढ़ाकर तुलसी माता की पूजा करें। इसके बाद भगवान विष्णु की आरती भी अवश्य करें।
- ज्योतिष शास्त्र के अनुसार पापमोचनी एकादशी के दिन भगवान विष्णु को पीले फूल चढ़ाने चाहिए। इसके अलावा अपने पूजा घर, रसोई और तुलसी के पौधे के पास एक गेंदे का फूल लाल कपड़े में बांधकर रखें।
- इस दिन शाम को तुलसी के सामने गाय के घी का दीपक जलाएं और “ॐ नमो भगवते वासुदेवाय नमः” मंत्र का जाप करते हुए तुलसी के पौधे पर 11 परिक्रमा करें। इस उपाय से घर की सभी परेशानियां और कठिनाइयाँ दूर हो जाएंगी।
पापमोचनी एकादशी पर करें पीपल की पूजा (Papmochani Ekadashi ke Khas Upay)
- पापमोचनी एकादशी के दिन रात के समय पीपल के पेड़ पर अखंड ज्योत जलाएं और पीपल के पेड़ की तीन बार परिक्रमा करें।
- शास्त्रों के अनुसार पीपल के पेड़ में भगवान विष्णु का वास माना जाता है। इसलिए एकादशी के दिन एक लोटे में जल लें और उसमें थोड़ी सी चीनी मिलाएं और जड़ों में अर्पित करें। इससे आपको सुख-समृद्धि मिलेगी।
पापमोचनी एकादशी का व्रत बहुत महत्वपूर्ण माना जाता है। साल में 24 एकादशियां होती हैं और यह साल की आखिरी एकादशियां होती हैं। प्रत्येक एकादशी का अपना विशेष अर्थ होता है। इस दिन भक्त भगवान विष्णु और माता लक्ष्मी की आरती करते हैं और व्रत रखते हैं। आज आपने जाना इस दिन किए जाने वाले कुछ विशेष उपायों के बारे में, जिन्हें करने से न केवल आपके जीवन से कई बाधाएं दूर हो सकती हैं, बल्कि सभी प्रकार की कमियों से मुक्ति भी मिल सकती है।
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