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April Vrat or Tyohar List 2024: अप्रैल के महीने में होंगे ये महत्वपूर्ण व्रत और त्यौहार, देखिये पूरी सूची

April Vrat Tyohar List 2024

अप्रैल शुरू होने वाला है। यह हिंदू कैलेंडर का चौथा महीना है और आध्यात्मिक और ज्योतिषीय दृष्टिकोण से बहुत महत्वपूर्ण महीना माना जाता है। ऐसा इसलिए है क्योंकि इस महीने में चैत्र नवरात्रि, राम नवमी और हिंदू नव वर्ष जैसे त्योहार बड़े उत्साह के साथ मनाए जाते हैं। वैदिक कैलेंडर के अनुसार अप्रैल में पापमोचिनी एकादशी और प्रदोष व्रत जैसे महत्वपूर्ण व्रत भी रखे जाते हैं। वार्षिक सूर्य ग्रहण भी अप्रैल में होता है। आइये जानते हैं की इस बार अप्रैल में सभी मुख्य त्यौहार किस-किस दिन रखे जाने वाले हैं।

व्रत-त्यौहार सूची (April Vrat Tyohar List 2024)

दिनांक दिन व्रत-त्यौहार
1 अप्रैल 2024  सोमवार  वित्तीय वर्ष प्रारंभ, शीतला सप्तमी
2 अप्रैल 2024  मंगलवार  कालाष्टमी, शीतला अष्टमी
5 अप्रैल 2024  शुक्रवार  पापमोचनी एकादशी
6 अप्रैल 2024  शनिवार  प्रदोष व्रत, शनि त्रयोदशी 
7 अप्रैल 2024  रविवार  रंग तेरस, विश्व स्वास्थ्य दिवस, मासिक  शिवरात्रि
8 अप्रैल 2024  सोमवार  सोमवती अमावस्या, सूर्यग्रहण, 16 सोमवार व्रत (शुभ मुहूर्त प्रारंभ)
9 अप्रैल 2024  मंगलवार  चैत्र नवरात्रि प्रारंभ, चंद्र दर्शन, गुड़ी पड़वा 
11 अप्रैल 2024    गुरूवार  मत्स्य जयंती, गौरी पूजा (गणगौर पूजा)
12 अप्रैल 2024  शुक्रवार  रोहिणी व्रत, वरद चतुर्थी
13 अप्रैल 2024  शनिवार  मेष संक्रांति, बैसाखी, हिन्दू नववर्ष
14 अप्रैल 2024  रविवार  यमुना छठ, आंबेडकर जयंती
15 अप्रैल 2024  सोमवार  चैत्र नवरात्रि सप्तमी 
16 अप्रैल 2024  मंगलवार  अशोक अष्टमी, दुर्गाष्टमी व्रत
17 अप्रैल 2024  बुधवार  स्वामीनारायण जयंती, श्री महातारा जयंती, राम नवमी
19 अप्रैल 2024  शुक्रवार  कामदा एकादशी
21 अप्रैल 2024  रविवार  प्रदोष व्रत, महावीर जयंती
22 अप्रैल 2024  सोमवार  पृथ्वी दिवस
23 अप्रैल 2024  मंगलवार  हनुमान जयंती, चैत्र पूर्णिमा, सत्य व्रत  
24 अप्रैल 2024  बुधवार  वैशाख मास प्रारंभ 
27 अप्रैल 2024  शनिवार  संकष्टी चतुर्थी 

शीतला अष्टमी (Sheetala Ashtami Date 2024)

शीतला सप्तमी अप्रैल का पहला दिन है और शीतला अष्टमी 2 अप्रैल को मनाई जाएगी। इस दिन शीतला माता की पूजा की जाती है। शीतला माता संपूर्ण पृथ्वी पर फैल रहे संक्रामक रोगों का नाश करने वाली हैं। इस दिन मन की मलिनता और तन की मलिनता दोनों को शुद्ध करना चाहिए। ऐसा कहा जाता है कि इस दिन शीतला माता की पूजा करने से गर्मी के महीनों के दौरान आप और आपके परिवार की सभी प्रकार की बीमारियों से रक्षा होती है। 

पापमोचिनी एकादशी (Paapmochini Ekadashi April 2024) 

 हिंदू धर्म में पापमोचनी एकादशी का व्रत करना बहुत शुभ माना जाता है। 2024 में पापमोचनी एकादशी 5 अप्रैल को है। हिंदू कैलेंडर के अनुसार, पापमोचनी एकादशी का व्रत हर साल चैत्र माह के कृष्ण पक्ष की एकादशी के दिन रखा जाता है। इस दिन भक्त भगवान विष्णु की पूजा करते हैं और व्रत रखते हैं। उन पर श्रीहरि की विशेष कृपा बनी रहती है और परिवार में सुख-समृद्धि बनी रहती है। साथ ही व्यक्ति जीवन की समस्याओं से मुक्त हो जाता है।

चैत्र नवरात्री (Chaitra Navratri April 2024)

चैत्र नवरात्रि हर साल चैत्र माह के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा से नवमी तक मनाई जाती है। इसलिए चैत्र नवरात्रि 2024 9 अप्रैल से 17 अप्रैल तक होगी। इस दौरान हमारी आदिशक्ति देवी दुर्गा के नौ रूपों की पूजा की जाती है। इसके अलावा मां दुर्गा के लिए नौ दिन का व्रत भी रखा जाता है। इसके नवें दिन राम नवमी अर्थात प्रभु राम का जन्मदिवस भी मनाया जाता है जो की इस बार 17 अप्रैल को मनाया जाएगा।

बैसाखी (Baisakhi April 2024)

बैसाखी का त्यौहार वसंत ऋतु की शुरुआत का प्रतीक माना जाता है। इसे वैसाखी के नाम से भी जाना जाता है। बैसाखी का त्यौहार हर साल 13 अप्रैल को मनाया जाता है। यह त्यौहार पंजाब और हरियाणा में बहुत धूमधाम से मनाया जाता है। बैसाखी के अलग-अलग नाम हैं। असम में इसे बिहू कहा जाता है, बंगाल में इसे नबा वर्षा कहा जाता है और केरल में इसे पुरम विशु कहा जाता है। बैसाखी के दिन सूर्य मेष राशि में प्रवेश करता है।

कामदा एकादशी (Kamada Ekadashi April 2024)

कामदा एकादशी का उल्लेख विष्णु पुराण में मिलता है। रामनवमी के बाद यह पहली एकादशी है। कामदा एकादशी को सांसारिक इच्छाओं की पूर्ति वाला व्रत माना जाता है। कामदा एकादशी को फलदा एकादशी भी कहा जाता है। इस बार एकादशी व्रत 19 अप्रैल को है। कामदा एकादशी का व्रत विशेष कामना की पूर्ति के लिए किया जाता है। इससे पारिवारिक जीवन की परेशानियां भी खत्म हो जाती हैं।

मौसम में बदलाव के साथ-साथ अप्रैल में कई व्रत वाले व्रत और त्यौहार भी हैं। इस साल भी अप्रैल में कई तीज-त्योहार पड़ेंगे। इस माह का सबसे बड़ा त्योहार चैत्र नवरात्रि भी है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार भगवान ब्रह्मा ने चैत्र मास में ही सृष्टि की रचना की थी। चैत्र का ये पावन महीना आध्यात्मिक और ज्योतिषीय दृष्टि से बहुत महत्वपूर्ण है।

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