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Amarnath Darshan: अमरनाथ यात्रा से होती है पुण्य फलों की प्राप्ति, जानिए यात्रा से जुड़े कुछ रोचक तथ्य

Amarnath Yatra 2024: श्री अमरनाथ आदिदेव भगवान शंकर को समर्पित है। कश्मीर धरती का स्वर्ग कहा जाता है और इसी स्वर्ग में मौजूद है भोलेनाथ की प्राकृतिक भव्य एवं चमत्कारिक अमरनाथ गुफा। अमरनाथ गुफा में हर साल हिमशिवलिंग के दर्शन करने के लिए लाखों श्रद्धालु पहुँचते हैं। इस शिवलिंग का दर्शन करने से एक सुखद अनुभूति होती है। शास्त्रों में अमरनाथ यात्रा को मोक्ष प्राप्ति का या स्वर्ग की प्राप्ति का जरिया बताया गया हैं। आज हम आपको अमरनाथ मंदिर और अमरनाथ यात्रा से जुड़ी महत्वपूर्ण जानकरी देने जा रहे हैं।

अमरनाथ यात्रा का महत्व (Amarnath Yatra Ka Mahatva)

श्री अमरनाथ भारत के तीर्थस्थानों में से एक प्रमुख तीर्थ स्थान है। कश्मीर के बर्फ से ढके पहाड़ों के बीच पवित्र अमरनाथ गुफा के दर्शन के लिए यात्रा जुलाई में शुरू होकर अगस्त में रक्षाबंधन तक चलती है। मान्यताओं के अनुसार अमरनाथ गुफा का दर्शन करने से आपको 23 तीर्थस्थानों के दर्शन जितना पुण्य प्राप्त होता है।

गुफा के अंदर बर्फ से एक प्राकृतिक शिवलिंग का निर्माण होता है। इसके अलावा गुफा में पक्की बर्फ से गणेश पीठ तथा पार्वती पीठ का भी निर्माण होता है। अमरनाथ गुफा में भोलेनाथ की पूजा करने से काशी में शिवलिंग के दर्शन एवं पूजन से दस गुणा ज़्यादा फल प्राप्त होता है। हजार सालों तक स्वर्ण, पुष्प, मोती एवं पट्ट वस्त्रों से देवताओं की पूजा करने से जो फल प्राप्त होता है वह सिर्फ एक दिन में श्री अमरनाथ जी की शिवलिंग पूजा से प्राप्त हो जाता है। 

इस मंदिर को 51 शक्तिपीठों (वे स्थान जहां देवी सती के शरीर के अंग गिरे थे) में से एक माना जाता हैं। इसके अलावा ये वही गुफा है जहाँ भगवान शिव ने देवी पार्वती को जीवन और अनंत काल का रहस्य सुनाया था।

अमरनाथ गुफा की कथा (Amarnath Gufa Ki Katha)

अमरनाथ गुफा

शास्त्रों में बताया गया है कि, भगवान शिव ने माता पार्वती को इसी गुफा में अमरत्व का रहस्य बताया था। अमरकथा सुनाने में यह परेशानी कि कोई और जीव या प्राणी इस कथा को सुन ना ले। इसलिए कथा सुनाने के भगवान शिव ने पृथ्वी, जल, वायु, आकाश और अग्रि पांचो तत्वों का त्याग करके इन पर्वत मालाओं के बीच माता पार्वती को अमरनाथ की गुफा में जाकर अमरकथा सुनाई। जब भोलेनाथ माता पार्वती को यह कथा सुना रहे थे तब इस रहस्य को शुक (कबूतर) ने भी सुन लिया। बाद में शुकदेव ऋषि के रूप में अमर हो गए। 

साल 2024 में कब शुरू होगी अमरनाथ यात्रा (2024 Me Kab Shuru Hogi Amarnath Yatra)

साल 2024 में होने वाली अमरनाथ यात्रा के शेड्यूल की घोषणा कर दी गई है। इस वर्ष 29 जून से अमरनाथ यात्रा की शुरुआत होगी और ये यात्रा 19 अगस्त को खत्म हो जाएगी। वैसे हर साल अमरनाथ यात्रा दो महीने तक चलती है पर इस साल देश में चल रहे चुनावों के चलते इस यात्रा की अवधि घटाकर 45 दिन कर दी गई गई। अमरनाथ यात्रा के लिए 15 अप्रैल से रजिस्ट्रेशन शुरू हो चुके हैं। 

अमरनाथ यात्रा की चढ़ाई कितने घंटे की है?

12,756 फीट की ऊंचाई पर स्थित अमरनाथ की गुफा तक पहुँचने के लिए भक्तों को लगभग 35 से 40 किमी पैदल चलना पड़ता है। 

अमरनाथ यात्रा के लिए कौन से महीने में जाना चाहिए?

अगर आप भी अमरनाथ गुफा शिवजी के हिम शिवलिंग का दर्शन करना चाहते हैं तो आपके लिए सबसे अच्छा समय मई से जुलाई तक है।

अमरनाथ यात्रा के लिए कितनी है रजिस्ट्रेशन फीस?

साल 2024 में अमरनाथ यात्रा करने के लिए आप प्रति व्यक्ति 160 रूपये देकर अपना पंजीकरण करवा सकते हैं। आप घर बैठे अमरनाथ श्राइन बोर्ड की ऑफिशियल वेबसाइट पर लॉगइन करके ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करवा सकते हैं। इसके अलावा आप मोबाइल एप्लिकेशन के द्वारा भी रजिस्ट्रेशन करवा सकते हैं। इसके लिए आपको  श्री अमरनाथजी यात्रा ऐप डाउनलोड करना होगा।

अमरनाथ यात्रा के लिए कैसे बुक करें ऑनलाइन दर्शन?

अगर आप अमरनाथ यात्रा पर नहीं जा पा रहे हैं तो आप घर बैठे अमरनाथ श्राइन बोर्ड की ऑफिशियल वेबसाइट और ऐप पर बाबा बर्फानी के दर्शन और लाइव आरती देख सकते है। इसके लिए सबसे पहले श्री अमरनाथ श्राइन बोर्ड की ऑफिशियल वेबसाइट https://jksasb.nic.in/ खोले। अब ऊपर दिए मेन्यू में ‘Online Service‘ पर क्लिक करके ऑनलाइन दर्शन बुक करवाएं।   

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